बालाघाट। भारतीय मजदूर मंच जो की भारतीय मजदूर संघ से संबंधित है, 19 अगस्त को कटंगझरी माइंस के कटंगझरी चौक बालाघाट में विशाल आमसभा, धरना प्रदर्शन किया गया। मैंगनीज माइंस मैनेजमेंट कटंगझरी द्वारा विगत अनेकों वर्षो से वहां के श्रमिकों के साथ अन्याय ,शोषण किया जा रहा है, तथा माइंस के मैनेजमेंट द्वारा एक ट्रेड यूनियंस जो की मजदूरों का शोषण कर रहा था, उसके पक्ष में सदस्यता लेने दबाव डाल रहा था। चूंकि वह संघ मैनेजमेंट के साथ मिलकर श्रमिकों का भारी शोषण कर रहा था, वहां सभी मजदूरों ने भारतीय मजदूर संघ की सदस्यता ली, सदस्यता के खिलाफ माइंस मैनेजमेंट भड़क उठा तथा वहां लगातार मजदूरों का शोषण करने लगा। इसके खिलाफ मैंगनीज मजदूर महासंघ बालाघाट द्वारा पूर्व में मैंगनीज माइन्स का घेराव किया गया था, जिससे बौखलाकर माइंस मैनेजमेंट तथा उसके मालिक द्वारा दो श्रमिकों को नौकरी से निकाल दिया गया था, इसके विरोध में कटंगझरी माइंस तथा लौगुर माइंस के सभी श्रमिकों ने एकजुटता के साथ में आमसभा, धरना प्रदर्शन में शामिल होकर माइंस मैनेजमेंट की जमकर निंदा की तथा कहा गया की बालाघाट जिले का दुर्भाग्य है कि यहां पर चाहे वह मैंगनीज माइन्स हो, शराब का ठेका हो, रेत का ठेका हो तथा बड़े-बड़े उद्योगों की बात हो, यहां पर बाहरी व्यक्तियों का दबाव है तथा स्थानीय प्रशासन का तथा राजनैतिक नेताओ का खुला समर्थन है, क्योंकि एक मोटी रकम तथा भारी भरकम राशि उन्हे कमीशन के रुप में प्राप्त होता है। यहां के मूल निवासी हाथ पैर हाथ धर के बैठकर इसका विरोध नहीं कर पा रहे हैं। बालाघाट जिले में श्रमिकों का भारी शोषण बाहर के ठेकेदारों, माइंस मैनेजमेंट तथा औद्योगिक संस्थानों में शोषण किया जा रहा है, ना तो उन्हें सामाजिक सुरक्षा दी जा रही है ना ही उनको न्यूनतम वेतन, सामाजिक सुरक्षा के दायरे में लाया जा रहा है, मजदूरों का भारी शोषण किया जा रहा है। भारतीय मजदूर संघ की मांग है की स्थानीय लोगों को रोजगार दिया जाए, मजदूरों का शोषण बंद किया जाए, निकाले गए दो श्रमिकों को तत्काल वापस लिया जाए, ऐसी अनेक प्रमुख मांगों को लेकर भारतीय मजदूर संघ के नेतृत्व में विशाल आमसभा आयोजित की गई, जिसमें भारतीय मजदूर संघ के विभाग प्रमुख राजेश वर्मा, जिला पंचायत सदस्य तथा सभापति मुन्ना भैया डूलेंद्र ठाकरे जिला पंचायत बालाघाट, हरिहर मलिक राष्ट्रिय अध्यक्ष तथा सैकड़ों की संख्या में मजदूरों ने उपस्थित होकर आमसभा में निर्णय लिया  कि आगामी समय में एक बड़ा आंदोलन मैनेजमेंट तथा बाहर के बड़े ठेकेदारों, औद्योगिक संस्थानों का खुलकर विरोध किया जाएगा।