बालाघाट। वन अमले ने तस्करों के विरुद्ध किया अपराध दर्ज, डॉग की मदद से की तलाश
बालाघाट। जिले में मुख्यालय से लगे दक्षिण सामान्य वन परिक्षेत्र के जंगल से तस्करों द्वारा चंदन के पेड़ काटकर चोरी करने का सनसनीखेज मामला सामने आया है। इस बात की जानकारी लगने से जहां वन अमला चिंतित व मुस्तैद नजर आ रहा है तो वहीं टहलने के लिए इस जंगल में रोजाना जाने वाले लोगों के लिए भी चंदन के पेड़ की कटाई चर्चा का विषय बन गया है। बता दें इस जंगल में चहल कदमी भी बनी रहती है। इतना ही नहीं मुख्यालय से लगा जंगल होने के कारण वनकर्मी भी भ्रमण करते रहते हैं। बावजूद इसके इस जंगल से तस्करों ने न सिर्फ चंदन के पेड़ काटे बल्कि उनके प्रमुख भाग को चोरी कर ले गए है। वन अमले को लगने पर वन अमले ने अज्ञात तस्करों के विरुद्ध वन अपराध दर्ज कर मामले को विवेचना में लिया है।
गर्रा नर्सरी से लगे जंगल से काटे चंदन के पेड़
दक्षिण सामान्य वनपरिक्षेत्र के अंतर्गत बजरंग घाट, शंकरघाट, मनकाटेकरी, आमाघाट, जागपुर घाट का बड़ी जंगल है। यहां पर ही गर्रा नर्सरी भी वनविभाग की संचालित होती है। इस क्षेत्र में बड़ी संख्या में लोगों के टहलने के चलते वन्यप्राणियों व वन संपदा को बचाने के लिए नर्सरी के साथ ही आसपास के क्षेत्र को फेसिंग से कवर किया गया है, लेकिन तस्करों ने कई स्थानों से फेंसिंग को काट दिया है और ऐसे ही एक स्थान से दो चंदन के पेड़ को काटकर ले जाने का कार्य किया है।
आवाज न आए इसलिए आरी से काटे पेड़
मिली जानकारी के अनुसार दक्षिण वन सामान्य के इस जंगल के आसपास ही रहवासी क्षेत्र, नर्सरी व वनविभाग के कार्यालय है। एसे में कुल्हाड़ी से पेड़ काटने पर आवाज आ जाती है। जिसके चलते ही इन तस्करों ने बड़ी चालाकी के साथ आरी की मदद से चंदन के पेड़ काटे है। बता दें कि सुबह करीब चार बजे से लेकर शाम के सात से आठ बजे तक इस जंगल में आवागमन रहता है। जिसके चलते ही ये अंदाजा लगाया जा रहा है कि इन तस्करों ने रात के समय चंदन के पेड़ को काटने का कार्य किया है।
डॉग लेकर पहुंचा अमला पर तस्कर नहीं लगे हाथ
जंगल से चंदन के पेड़ काटने की जानकारी दक्षिण सामान्य वनपरिक्षेत्र को मिलने पर वन अमले ने मौके पर पहुंचकर पंचनामा कार्रवाई को पूर्ण कर अपराध दर्ज किया है। वहीं आरोपितों को पकडऩे के लिए डॉग की मदद भी ली है। डॉग ने भी काफी दूर तक सूंघ कर पकडऩे का प्रयास तो किया लेकिन कुछ दूरी पर मुख्य सड़क का आवागमन होने के चलते वह भी आरोपितों तक पहुंच नहीं पाया है।