लालबर्रा। शासकीय मापदंड धरे के धरे.. हो रहा घटिया निर्माण..
सर्राटी जलाशय की नहर सीमेंटीकरण कार्य में चढ़ाई गई भ्रष्टाचार की परत
लालबर्रा। बालाघाट जिले का सबसे बड़ा जलाशय सर्राटी जलाशय जोकि नगर मुख्यालय से लगभग 10 किलोमीटर दूर स्थित है जिसका निर्माण कार्य अंग्रेजों के जमाने में ब्रिटिश शासनकाल के दौरान 1912 से 1923 तक किया गया उक्त बांध का जल ग्रहण क्षेत्र संख्या 97. 77 वर्ग किलोमीटर, लंबाई 2073 मीटर है जिसकी बाई तट मुख्य नहर की लंबाई 9.446 किलोमीटर है और निकट नहर की लंबाई 18. 486 किलोमीटर है। उक्त नहरों के माध्यम से लगभग 30 ग्रामों की कृषि योग्य 7309 हेक्टेयर भूमि को सिंचित किया जाता है वर्तमान समय में इन नहरों का सीमेंटीकरण ( लाइनिंग) कार्य प्रारंभ है जो करोड़ों रुपए की लागत से किया जा रहा है जहां पर ठेकेदार द्वारा बहुत अधिक घटिया मटेरियल का उपयोग किया जा रहा है यहां तक कि मिट्टी युक्त रेत का उपयोग हो रहा है जिसके चलते निर्माण कार्य प्रारंभ होते ही जगह-जगह दरारें देखने को मिल रही है, इसे छुपाने के लिए ठेकेदार लीपापोती कर रहा है, जानकार मानते हैं कि ऐसा ही कार्य होता रहा तो किसानों को नहरों से पानी जरूरत के दिनों में व बारिश के समय नहरों से पानी छोड़ा जाएगा तो कई स्थानों से नहर उधड जाएगी और क्षतिग्रस्त हो जाएगी। सवाल यह है कि सरकार कहती है कि किसानों की आय दोगुनी करना है जल स्रोतों पर ध्यान देना है किसानों को सिंचाई हेतु नहरो के माध्यम से पर्याप्त जल उपलब्ध कराना है जिससे किसान अपने खेती पर नहरो से पानी मिलने से और अनेकों किस्म की फसलें, लगा पाएगा और उसकी आय दोगुनी हो जाएगी परंतु देखा जा रहा है कि खादी और भ्रष्ट कार्यप्रणाली, कमीशनखोरी के चलते शासकीय योजनाएं जमीन पर दम तोड़ देती है या यूं कह सकते हैं कि भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ जाती है, योजनाओं के क्रियान्वयन में बंदरबांट कर शासकीय खजाने को एवं जनता के पैसों को लूटा जा रहा है, सर्राटी जलाशय की नहर के सीमेंटीकरण कार्य विभागीय अधिकारी और ठेकेदार की सांठगांठ से घटिया निर्माण करते हुए रेत का अधिक मात्रा में उपयोग किया गया है, नहर के हो चुके सीमेंटीकरण कार्य में अनगिनत जगह दरारे देखने को मिल रही है जिसमें खानापूर्ति के लिए पर से सीमेंट का लेप लगा दिया गया है कहीं-कहीं तो अभी से कार्य क्षतिग्रस्त होते दिखाई दे रहा है।
तकनीकी जांच हो जाए तो घटिया निर्माण साबित हो जाएगा..
मामले को गंभीरता से लेते हुए कांग्रेस नेता मनीष कुशवाहा ने कहा कि लंबे अरसे से क्षेत्र की जनता उक्त नहर की लाइनिंग कार्य की मांग कर रही थी जिसका कार्य अब जाकर प्रारंभ हुआ है,वाकई में ठेकेदार द्वारा बहुत ही घटिया गुणवत्ता हीन कार्य किया जा रहा है ऐसे ठेकेदार को तत्काल हटा कर दूसरे ठेकेदार से कार्य करवाना चाहिए ताकि नहरो के लाइनिंग का कार्य लंबे समय तक मजबूती के साथ टिका रहे,जब उक्त गंभीर मामले में वैनगंगा संभाग के कार्यपालन यंत्री से दूरभाष पर चर्चा करनी चाही गई तो उन्होंने फोन रिसीव नहीं किया, मीडिया द्वारा फिर वैनगंगा संभाग के उच्च अधिकारी अधीक्षण यंत्री से सर्राटी जलाशय की नहरों के सीमेंटीकरण कार्य में हो रही अनियमितता व घटिया निर्माण कार्य की लागत के संबंध में चर्चा की गई तो उन्होंने पहले तो पल्ला झाड़ा, फिर कहा।
इनका कहना है
मामले की जांच करवा लेता हूं अगर घटिया निर्माण किया गया होगा, तो निर्माण कार्य को तुडवा दिया जाएगा एवं पुन: निर्माण करवाया जाएगा।
युवराज सर
अधीक्षण यंत्री वैनगंगा संभाग, बालाघाट